
नमस्कार दोस्तों आज हमारा पोस्ट Jimmedari Shayari in hindi जिम्मेदारी शायरी पर है जिम्मेदारी शायरी इन हिंदी कॉम हमने इसलिए चुना क्योंकि जीवन में कई बार हमें जिम्मेदारी उठाने पड़ती है जिस वजह से हमें अपनी लाइफ को कैसे के पास करते हैं और वह हमारे अंदर एक फीलिंग तभी रह जाती है जिसको शेयर करने के लिए कुछ शब्दों और शायरी की जरूरत पड़ती है और इस पोस्ट में हमने उन्हें शायरी भाई कलेक्शन तैयार किया है ..
हिंदी शायरी कि बेहतरीन पोस्ट में जिम्मेदारी शायरी का एक बेहतरीन कलेक्शन है जिसमें आप तरह की जीवन की जिम्मेदारियां के बारे में शायरी के थ्रू पड़ेंगे अगर आप भी अपने जीवन में उसे relate करते हैं तो आप हमें नीचे कमेंट करके जरूर बताइए जिससे हम समझेंगे कि वह आपसे जुड़ी हुई है और उम्मीद करते हैं कि आपको एक पोस्ट पसंद आएगा ..!!
Jimmedari Shayari In Hindi
कभी-कभी उसे मोड पर भी खड़ा कर देती है यह जिंदगी जहां चाहत तो होती है
मर जाने की मगर मजबूरी होती है जीने की क्योंकि
जिम्मेदारियां का बोझ अक्सर इंसान को जिंदा लाश बना देता है ।।।

जिम्मेदारियां वह पिंजरा है जहां इंसान आजाद होकर भी कैद है ।
यह तो अक्सर सोचता हूं क्या वह करूंगा यह करूंगा जब घर की तरफ देखता हूं तब सब ख्वाब से मर जाते हैं ।।
jimmedari shayari 2 line hindi
की सोचा था जीवन कितना हसीन होगा एक दिन जिम्मेवारी आएगी सब छीन जाएगी ।।
हिसाब मोहब्बत हो या दिल की कोई ख्वाहिश घर की जिम्मेवारियों के आगे सब धुल बराबर है ।।
लड़को की जिम्मेदारी पर शायरी
मैं मानता हूं कि जीवन जीना एक कला है पर किसी के लिए जीना उससे भी बड़ी कला है ।।।

किसी को को देना किसी को का लेना एक अंत होता है समझ आता है कि कहां तक हमको किसी का होना है साफ करके जिम्मेवारिया उठा ली पता नहीं कहां तक अंत होना है ।।।
कि मैं भी हंसता था कभी सोच कर उसे दीक्षा करता था कभी अब बस घर में मां दिखती है वह भी सोचा था कभी।।।
घर की जिम्मेदारी पर शायरी
हर चीज चली गई जिसे मैं पसंद करता हूं की ख्वाब इन पर भरोसा नहीं है मुझे अब बस उन्हें खुश रखना है एक ख्वाब मेरा ।।
तड़प होती है कभी की भाग जाओ जिंदगी से
खुल जाए कोई दरवाजा तो निकल जाऊं उसी से ।
मैं पर जब से होश संभाला है खुद के बारे में सोच तक नहीं सकता
मेरी मां का क्या होगा मैं रो भी नहीं सकता ।।
तलाश है मुझे की कोई बातें दर्द बाटे मेरा,मैं थक चुका हूं ,की उठा ले कोई गोद में मुझे मैं मर चुका हूं ।।
Ghar ki Jimmedari Shayari
समझना कितना जरूरी है की तड़प एक तरफ जरूरी है एक समझे उसे एक समझाएं यह समझना भी कितना जरूरी है मुझे पता है मैं खो चुका हूं खुद को उसे भी पता होना जरूरी है ।।

मेरी तलाश इतनी है कि तुम मिल जाओ
जरूरी नहीं हर ख्वाब पूरा हो बस तुम मिल जाओ।।
माना की मैं नहीं हूं ठीक कुछ बातों में पर कुछ बातों में मैं हूं ठीक बस तुम मिल जाओ ।।
मां और प्रेम के लिए नहीं भविष्य के लिए चिंतित है पार्थ !!
जिम्मेदारी पर अनमोल वचन
जुड़े रहने के लिए बेइंतहा भरोसा चाहिए और बिछड़ने के लिए बस एक गलतफहमी काफी है ।।
भरोसा और आरती एक बार उठाने के बाद फिर वापस नहीं रखी जाती है ।।।
तुझे मिलेगा अब बस तेरे जैसा क्योंकि मेरे जीवन में और भी जिम्मेदारियां बहुत है ।।
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